अध्यात्म आधुनिकता और राष्ट्रीयता का संदेश देते हुए मनाई गई काशी में देव दीपावली

VARANASI UP

योगी सरकार के प्रयासों से साल दर साल भव्य से भव्यतम हुई देव दीपावली

21 लाख दीपों से जगमग हुई सम्पूर्ण काशी नगरी, गंगा तट पर जलाये गये 10 लाख दीये

अध्यात्म, आधुनिकता और राष्ट्रीयता का संदेश देते हुए मनायी गयी देव दीपावली

SCO देशों में से रूस के एक व किर्गिस्तान के दो सदस्य इस बार देव दीपावली में हुए शामिल

ग्रीन आतिशबाजी देखने घाटों पर उमड़े सैलानी, लेजर शो ने किया मंत्रमुग्ध

वाराणसी शिव की नगरी काशी में सोमवार शाम भव्य देव दीपावली मनायी गयी। सूर्यास्त के साथ ही उत्तर वाहिनी गंगा के तट पर प्रज्जवलित लाखों दीपों ने आलौकिक छटा बिखेरी। तकरीबन आठ किलोमीटर लंबे काशी के घाटों पर मानो आकाशगंगा के सितारे उतर आये हों। सभी महत्वपूर्ण घाटों पर भव्य महाआरतियों और घण्ट-घड़ियालों की ध्वनि से काशी की धरा पर देवताओं का स्वागत हुआ। गौरतलब है कि कल ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने देव दीपावली की व्यवस्थाओं का जायजा लिया था और अधिकारियों को समुचित निर्देश भी दिए थे।

देव दीपावली के अवसर पर काशी का प्रत्येक घाट अलग-अलग रंग बिखेरता दिखा। कहीं लेज़र शो का आयोजन हुआ, तो कही ग्रीन आतिशबाजियां देखने देश और दुनिया के सैलानी टकटकी बांधे दिखे। इसके अलावा दशाश्वमेध घाट पर अमर जवान ज्योति की अनुकृति बनाकर देश के वीर जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की गयी। मां गंगा की महाआरती में नारी शक्ति की भी अद्भुत तस्वीर देखने को मिली। यहां मुख्य अर्चक के रूप में कन्याओं ने गंगा मइया की पूजा-वंदना की।

21 लाख दीपों से जगमग हुई पुण्यधरा काशी
देव दीपावली पर काशी नगरी में तकरीबन 21 लाख दीये जलाये गये। केवल काशी के अर्धचंद्राकार घाटों पर ही 10 लाख से अधिक दीये जलाये गये। इसमें आठ लाख दीये पश्चिमी तट पर स्थित 84 घाटों पर जबकि, दो लाख दीये पूर्वी तट की रेत पर जलाये गये।

अलौकिक के साथ आधुनिक काशी का नजारा
काशी में एक साथ 21 लाख दीयों के प्रज्जवलित होने से अलौकिक समा तो बंधा ही साथ ही चेत सिंह घाट पर पहली बार 3 डी प्रोजेक्शन मैपिंग शो के माध्यम से गंगा आवरण व देव दीपावली की कथा और लेज़र शो के माध्यम से भगवान शिव के चित्रात्मक भजन सुनकर लोग मंत्रमुग्ध हो उठे। देव दीपावली पर काशी के सभी मंदिरों, यहां तक कि सड़क के विद्युत खंभों को भी आकर्षक झालरों से सजाया गया। काशी विश्वनाथ धाम के सामने गंगा पार रेत पर ग्रीन आतिशबाजी का भी लोगों ने अनुभव लिया

अध्यात्म के साथ राष्ट्रीयता का संदेश
देव दीपावली महोत्सव ने अध्यात्म के साथ ही राष्ट्रीयता का भी संदेश दिया। दशाश्वमेध घाट पर अमर जवान ज्योति की अनुकृति पर जवानों को श्रद्धांजलि भी दी गई। यहां देश के वीर शहीद जवानों को सेना के लोगों ने श्रद्धांजलि अर्पित की। लगभग सभी घाटों पर धार्मिक आयोजन हुए

शामिल हुए SCO देशों के सदस्य
पीएम नरेन्द्र मोदी और सीएम योगी आदित्यनाथ के प्रयासों से वाराणसी की देव दीपावली साल दर साल भव्य से भव्यतम रूप में दिखाई देने लगी है। हाल ही में काशी को शंघाई सहयोग संगठन (SCO) की और से एक साल के लिए सांस्कृतिक और पर्यटन राजधानी घोषित किया गया है। वहीं देव दीपावली पर SCO देशों में से रूस से एक व किर्गिस्तान से दो सदस्य काशी की अलौकिक छटा को निहारने पहुंचे।

50 टन फूलों से सजाया गया काशी विश्वनाथ धाम
देव दीपावली पर काशी विश्वनाथ मंदिर परिसर को 50 टन फूलों से सजाया गया। सजावट का कार्य दो दिन पहले से शुरू हो गया था। इसके लिए सरकार की ओर से 80 लाख रुपए खर्च किये गये थे। श्रीकाशी विश्वनाथ धाम बनने के बाद इस साल ये पहली देव दीपावली मनायी गयी है। आने वाले सालों में भी देव दीपावली पर विश्वनाथ धाम को भव्य रूप से सजाया जाएगा।

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