प्रेम के प्रतीक

 

रोहित सेठ

 

वाराणसी।विश्वप्रसिद्ध आध्यात्मिक संत जगतगुरु साई माँ श्री लक्ष्मी देवी मिश्रा जी ने अयोध्या में प्रभु श्रीरामललाजी के भव्य मंदिर निर्माण एवं प्राण प्रतिष्ठा के शुभ अवसर पर समस्त देशवासियो को हार्दिक शुभकामनायें देते हुए अमेरिका से भेजे अपने विशेष संदेश मे कहा कि

राम मंदिर के उद्घाटन के इस शुभ दिन पर, हम भगवान राम का जश्न मनाते हैं और इस बात पर विचार करते हैं कि वह हममें से प्रत्येक और पूरी मानवता के लिए क्या मायने रखते हैं।

अपने वनवास के दौरान राम का जीवन आसान नहीं था; वह बड़ी कठिनाइयों से गुजरा। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि उन्हें कितने खतरों का सामना करना पड़ा, राम केंद्रित रहे, वे विकसित हुए। जंगल के माध्यम से उनकी यात्रा और घर वापसी यह दर्शाती है कि हम चेतना के एक स्तर से दूसरे स्तर तक सचेत रूप से कैसे विकसित हो सकते हैं।

यदि राम का अवतार नहीं बनना है तो हम राम की पूजा क्यों करते हैं? मैं आपको अपने प्रति भगवान राम की भक्ति महसूस करने के लिए आमंत्रित करता हूं। वह आपकी आत्मा की भव्यता में कदम रखने के प्रति समर्पित है। राम हमें दिखाते हैं कि आत्म-साक्षात्कार, मोक्ष, हर किसी के लिए संभव है; वह जाति, धर्म से परे हैं और हम सभी में खुद को देखते हैं। यो-गा… मिलन… आत्मा के साथ एक, उस सब के साथ एक जो हम देवत्व के रूप में हैं।

 

बहुत प्यार और आशीर्वाद के साथ,

परम पूज्य जगद्गुरु साईं माँ

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